Monday, January 5, 2015

75 % teachers's NET certificate fictitious in U.P.

sattachakra.blogspot.in
चोर गुरूओं के बाद फर्जी (जाली ) गुरूओं के नेट का खुलासा
DATE 5-01-2015, TIME 09.05AM
उ.प्र. के विश्वविद्यालयों, महाविद्यालयों  में 75 प्रतिशत अध्यापकों के नेट प्रमाण पत्र फर्जी


क्या रामनाईक ऐसे फ्राड गुरूओं,उनको नौकरी देने,बचाने वाले कुलपतियों,कुलसचिवों,वि.वि.,महाविद्यालयों के मालिकों को जेल भेजवायेंगे  ?
-कृष्णमोहन सिंह
नईदिल्ली। क्या उ.प्र. के राज्यपाल राम नाईक अपने से पहले वाले राज्यपाल बीएल जोशी की तरह ही राज्य के विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को बुलाकर प्रवचन देकर रस्मअदायगी कर लेंगे या विश्वविद्यालयों में फैले भ्रष्टाचार को खत्म करने के लिए कुछ ठोस पहल करेंगे? भ्रष्ट चोरगुरूओं,उनके संरक्षक कुलपतियों,कुलसचिवों के विरूद्ध कड़ी कार्रवाई करेंगे?नकल करके पीएचडी, डी-लिट,शोध-पत्र,,उसके बदौलत नौकरी ,पदोन्नति पाने वाले लेक्चररों,रीडर व प्रोफेसरों को बर्खास्त करने की कार्रवाई करेंगे? नेट परीक्षा पास करने का फर्जी प्रमाण पत्र लगाकर विश्वविद्यालयों में पढ़ा रहे फ्राडगुरूओं को जेल भेजवायेंगे ? महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ,वाराणसी के तथाकथित चोरगुरू संरक्षक कुलपति का टर्म खत्म हो जाने के बाद भी न केवल पद पर बनाये रखने ,बल्कि दो –तीन विश्वविद्यालयों का कुलपति का काम देखने के नजीर को पलटने और किसी ईमानदार ,विद्वान , विजनरी,गैरजातिवादी युवा को कुलपति बनाने की पहल करेंगे?
यदि राज्यपाल  रामनाईक यह नहीं करेंगे तो उनका 5 जनवरी 2015 को राज्य के 24 विश्वविद्यालयों के कुलपतियों के साथ बैठक केवल मिलन बैठक की खानापूर्ति  ही बनकर रह जायेगी।
राज्यपाल कुछ प्रवचन करेंगे और चाय,नास्ता के बाद कुलपति  वापस चले जायेंगे।
देखना है कि रामनाईक विश्वविद्यालयों के भ्रष्ट कुलपतियों,प्रोफेसरों,कुलसचिवों के विरूद्ध कुछ करते हैं ,विश्वविद्यालयों से भ्रष्टाचार मिटाने के लिए 5 जनवरी को कोई आदेश जारी करते हैं या पहले से जो चल रहा है उसे ही चलते रहने देते हैं।
मालूम हो कि उत्तर प्रदेश में देश के सबसे अधिक  यूजीसी  नेट के फर्जीसर्टिफिकेट के सहारे स्ववित्तपोषित महाविद्यालओं में पढाने वाले शिक्षक हैं। जो कि शिक्षा माफियाओं के माध्यम से आसानी से नौकरी पा जाते हैं।  विश्वविद्यालय आँख मूद कर इनका अनुमोदन कर नई पीढ़ी को तैयार करने की जिम्मेदारी दे देता है।
इस फर्जी नेट सर्टिफिकेट का खुलासा दिसम्बर 2013 में वीरबहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर के तत्कालीन कुलपति प्रो सुन्दर लाल ने किया था ।उन्होंने लगतार मिल रही शिकायतों से परेशान होकर रैंडम सैम्पलिंग के आधार पर गृह विज्ञान और शिक्षा शास्त्र के  128 शिक्षकों के नेट सर्टिफिकेट को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी)को जाँच के लिए भेजा था ।  यूजीसी के सीनियर सांख्यकीय अधिकारी ने इन प्रमाणपत्रों की जाँच कर 20 नवम्बर 2013 को अपनी रिपोर्ट भेजी थी ।रिपोर्ट में था कि  128 गुरुजी में से 96 के नेट प्रमाण फर्जी हैं।इनमें गृह विज्ञान के 75  व शिक्षा शास्त्र के 21 लेक्चरर फर्जी नेट सर्टिफिकेट के आधार पर  नौकरी कर रहे थे।इन शिक्षकों ने कॉलेजों में पढ़ाया  भी और पूरे प्रदेश के विश्वविद्यालयों में लाखों रुपये की कॉपियों का मूल्यांकन भी किया। यह मामला उजागर होने के बाद तबके राज्यपाल बीएल जोशी के प्रमुख सचिव राजीव कपूर ने प्रदेश के  उच्च शिक्षा सचिव नीरज गुप्ता को पत्र  लिखा था।जिसकी प्रतिलिपि प्रदेश के 24 विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को भेज कर कार्यवाही के लिए निर्देश दिए गए थे। सभी विश्वविद्यालयों को समयबद्ध अभियान चला कर नियुक्त शिक्षकों के नेट सर्टिफिकेट की जाँच कराने  और उन्हें लेक्चरर कार्य से हटाकर उनके विरूद्ध कानूनी कार्रवाई करने का आदेश दिया गया था। लेकिन प्रदेश के विश्वविद्यालयों ने अभी तक स्ववित्तपोषित कॉलेजों में तैनात सभी शिक्षकों के प्रमाण पत्रों की जाँच नहीं कराई और इतने बड़े मामले में शिक्षा माफियाओं की मिलिभगत से  सब चुप्पी साधे हैं । यदि  एक विश्वविद्यालय में रैंडम सैम्पलिंग में  128 में 96 फर्जीगुरु  हैं तो पूरे प्रदेश के 24 विश्वविद्यालयों में कितने होंगे इसकी केवल कल्पना की जा सकती है। अचरज यह है कि जिन - जिन विश्वविद्यालय , महाविद्याल में फर्जी शिक्षक पकड़े गए उनपर  किसी तरह की कार्रवाई नहीं हुई। क्या राज्यपाल पूरे राज्य के नेट प्रमाण पत्र वाले अध्यापकों का प्रमाण पत्र यूजीसी से जांच कराकर ऐसे फर्जी(जाली) गुरूओं और उनको प्रश्रय देने वाले कुलपतियों,कुलसचिवों,प्राइवेट विश्वविद्यालयों,महाविद्यालयों के मालिकों को जेल भेजवायेंगे, इस मामले की समयबद्ध सीबीआई जांच करायेंगे ?

* यह खबर दिनांक 05-01-2015 को स्वदेश,इंदौर में पृष्ठ 12 पर ,स्टार समाचार सतना,भोपाल में पृष्ठ 1 पर ,राष्ट्रीय नवीन मेल ,रांची,डाल्टनगंज में पृष्ठ 1 पर छपी है।