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date 06-01-2015,time 10.07a.m.
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निलम कपूर फिर महानिदेशक पत्र सूचना कार्यालय बनने के लिए ओमिता पाल ,बिमल
जुल्का से लगवा रही हैं जेतली के यहां जुगाड़
कांग्रेस सरकार में लाभ लेने वालों द्वारा भाजपा सरकार में भी लाभ लेने से
मोदी हो गये हैं चौकन्ने
-कृष्णमोहन सिंह
नईदिल्ली।कांग्रेस
के सीताराम केसरी,आनंद शर्मा,मनीष तिवारी जैसों की अतिप्रिय रहीं निलम कपूर फिरसे
महानिदेशक,पत्र सूचना कार्यालय (पी.आई.बी.) बनने के लिए प्रणव मुखर्जी की
अतिप्रिय सचिव ओमिता पाल,उनके रिश्तेदार व सूचना प्रसारण मंत्रालय के सचिव बिमल
जुल्का से सूचना प्रसारण मंत्री अरूण जेतली के यहां जुगाड़ लगवा रही हैं। मालूम हो
कि ओमिता पाल भारतीय सूचना सेवा की अफसर रही हैं। और 2002 में सेवानिवृत हो गईं।
यूपीए सरकार में प्रणव मुखर्जी जब रक्षा मंत्री बने तो उनको अपना सलाहकार और जब
वित्त मंत्री बने तो भी सलाहकार बनाकर अपने साथ रखे रहे।और जब राष्ट्रपति बने तो
सेक्रेटरी टू द प्रसिडेंट बना दिये। उन्ही की कृपा से ओमिता के पति यूपीए सरकार के
समय दिल्ली के पुलिस कमिश्नर हुए थे, सेवानिवृत होने के बाद एक पावरफुल आयोग के सदस्य
बन गये । उसके बाद यूपीए सरकार के जाते-जाते उनको मेघालय का राज्यपाल बनवा दिया गया। और अब उनको
दिल्ली से सटे उत्तराखंड का राज्यपाल बना दिया गया। कहाजाता है कि सिफारिश तो उनको
मेघालय से लाकर दिल्ली का राज्यपाल बनवाने की थी, लेकिन प्रधानमंत्री नरेन्द्र
मोदी ने वर्तमान राज्यपाल जंग को अच्छा कार्य करने और दिल्ली का चुनाव सिरपर होने
का तर्क देकर ओमिता के पति को फिलहाल दिल्ली से नजदीक उत्तराखंड का राज्यपाल बनवा
दिया।जहां से वह जब चाहेंगे राज्य के हवाई जहाज से दिल्ली आ जायेंगे। बताया जाता
है कि जैसे यह कार्य कराया गया वैसे ही अब नीलम कपूर को फिरसे पीआईबी का महानिदेशक
बनाने के लिए अरूण जेतली के यहां सिफारिश लगाई जा रही है। कहा जाता है कि ओमिता
पाल के रिश्तेदार हैं सूचना प्रसारण मंत्रालय के सचिव बिमल जुल्का । उनसे ओमिता की बात होती रहती है। बिमल जुल्का
और नीलम कपूर में बहुत घनिष्ठता है। केन्द्र में सरकार बदलने ,मोदी सरकार आ जाने के
बाद भी नीलम कपूर का व्यवहार पहले की तरह घमंडी व कांग्रेस की तरफदारी वाला और
पहले से सूचीबद्ध कांग्रेस भक्त पत्रकारों
को प्रश्रय देने वाला रहा तो कई पत्रकारों
व संस्थाओं के लिखित शिकायत पर तबके सूचना प्रसारण मंत्री प्रकाश जावडेकर ने निलम
कपूर का तबादला फिल्म विभाग में कर दिया।
उस समय जावडेकर ने इससे संबंधित जिस फाइल
पर हस्ताक्षर किया था उसको सचिव बिमल जुल्का ने 13 दिन तक दबाये रखा,आगे नहीं
बढ़ाया था। और इस आदेश के बारे में नीलम कपूर को बता दिया कि ऐसा आदेश हो गया है
,आप आकर मंत्री से मिलकर आदेश रूकवाने का इंतजाम करवाइये। नीलम कपूर ने इसे
रूकवाने का हर हथकंडा अपनाया ,अपने परिचित पत्रकारों से अंग्रेजी के प्रमुख दैनिकों
में इसके विरूद्ध खबरें भी छपवाया , लेकिन जावडेकर ने उनका तबादला कर दिया।
neelam kapur |
omita paul |
अब जावडेकर तो सूचना
प्रसारण मंत्री हैं नहीं। सूचना प्रसारण मंत्री तो अरूण जेतली हो गये हैं । सो
उनके यहां पैरवी शुरू हो गई है।खुश करने का हर उपाय किया जा रहा है। बताया जाता है
कि बिमल जुल्का ने उनको समझाया है कि साहब नीलम काम में एकदम परफेक्ट नीलम हैं।
उनको वापस पीआईबी का महानिदेशक बनाने से बहुत भला होगा। 1 जनवरी 2015 को अरूण जेतली ने अपने सरकारी आवास पर लजीज
भोजपार्टी दी थी। जिसमें नीलम कपूर भी गई थीं।पार्टी में गये लोगों का कहना है कि नीलम के मिलते ही जेतली ने
कहा कि आप कहां हैं । कहा जाता है कि यह बिमल
जुल्का और ओमिता के सिफारिश का ही असर है।
यह भी कहा जाता है कि सूचना सचिव बिमल
जुल्का की कोशिश रक्षा सचिव बनने की है। इसके लिए ओमिता पाल और उनके आका से हर
संभव जुगाड़ लगवाया गया । लेकिन सतर्क मोदी ने किसी और को रक्षा सचिव बना दिया। पर
जिसतरह से चंडीगढ़ क्लब के लोग गोलबंद होकर कांग्रेस सरकार में लाभ लिये और अब
भाजपा सरकार में भी लेने लगे हैं उससे मोदी चौकन्ने हो गये हैं।
* यह खबर दिनांक 06-01-2015 को कई अखबार में छपी है।
* यह खबर दिनांक 06-01-2015 को कई अखबार में छपी है।